Range Of Thallus Organization In Algae BSc Botany Notes
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प्रश्न 2 – शैवालों की शारीरिक संरचना में विभिन्नता (Range of thallus organization in algae) का सचित्र वर्णन कीजिए।
उत्तर – शारीरिक संरचना की दृष्टि से शैवाल अनेक प्रकार के होते हैं एवं इनमें काफी विभिन्नताएँ मिलती हैं। शैवालों में पाए जाने वाले कुछ मुख्य प्रकार के सूकायों (thallus) का वर्णन निम्न प्रकार है-
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चलीय प्रकार (Motile Form) . ____
इन शैवालों के शरीर में कुछ चलीय रचनाएँ जैसे—फ्लैजेला (flagella) अथवा सीलिया (cilia) अवश्य पायी जाती हैं। इन रचनाओं की सहायता से ये शैवाल गति कर सकते हैं। इस प्रकार के शैवालों के कुछ मुख्य उदाहरण हैं-Chlamydomonas, Volvox, Eudorina, Pandorina आदि।
क्लैमाइडोमोनास (Chlamydomonas) में शरीर एककोशिकीय होता है तथा इसमें दो फ्लैजेला, दो कॉन्ट्रेक्टाइल वैक्योल, एक स्टिग्मा, एक केन्द्रक तथा. एक पाइरीनॉयड होता है, इसमें एक प्याले के आकार का क्लोरोप्लास्ट भी होता है।
वॉलवॉक्स (Volvox) की विभिन्न जातियों में एक थैलस में 500 से 60,000 तक कोशिकाएं होती है। ये सभी कोशिकाएँ एक-दूसरे से प्रोटोप्लामिक धागों से जुड़ी रहती हैं। प्रत्येक कोशिका की रचना क्लेमाइडोमोनास की तरह की ही होती है।
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पामेला प्रकार (Palmelloid Form)
क्लैमाइडोमोनास तथा कुछ अन्य शैवालों में यह एक अस्थायी अवस्था होती है, लेकिन टेट्रास्पोरा में यह स्थायी अवस्था होती है। इस अवस्था में कोशिकाएँ जिलेटिनस मैट्रिक्स के अन्दर धंसी रहती हैं।
III. कोकोयड प्रकार (Coccoid Form)
कोकोयड का अर्थ होता है-अचलीय (non-motile)। इस प्रकार के शैवालों के शरीर की रचना एक अथवा अनेक अचलीय कोशिकाओं से होती है। इनमें फ्लैजेला अथवा सीलिया नहीं मिलते। एककोशिकीय कोकोयड का उदाहरण है- क्लोरेला (Chlorella) तथा बहुकोशिकीय कोकोयड का उदाहरण है- हाइड्रोडिक्टियॉन।
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डेन्ड्रोयड प्रकार (Dendroid Form)
डेन्ड्रोयड का अर्थ है पेड़ के आकार का (tree-like)। इस प्रकार के शैवालों के थल सूक्ष्मदर्शी से देखने पर पेड़ के आकार के दिखाई पड़ते हैं; जैसे-Ecballocystery Prasinocladus आदि।
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सूत्राकार अथवा तन्तुमय
(Filamentous Form) __ इस प्रकार के शैवालों के थैलस की रचना सूत्र अथवा तन्तु (filament) के आकार की होती है। इनमें अनेक कोशिकाएँ एक-दूसरे के ऊपर लगी होती हैं। सूत्राकार थैलस वाले शैवाल दो प्रकार के होते हैं—(अ) अशाखित सूत्राकार शैवाल (unbranched filamentous algae); जैसे—Ulothrix, Spirogyra, Oedogonium आदि एवं (ब) शाखित सूत्राकार शैवाल (branched filamentous algae); जैसे Cladophora, Pithophora आदि।
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हेटरोट्राइकस प्रकार (Heterotrichous Form)
इस प्रकार के शैवालों के शरीर की रचना अनेक प्रकार के सूत्रों अथवा तन्तओं (filament) से निर्मित होती है। इनमें से कुछ पृथ्वी पर समान्तर चलने वाले (prostrate तन्तु होते हैं तथा कुछ वायु में सीधे खड़े (erect) रहने वाले तन्तु होते हैं। इनके कुछ उदाहरण हैं- Fritschiella, Draparnaldiopsis आदि।
VII. साइफोनस प्रकार (Syphonous or Siphonaceous Form)
इस प्रकार के शैवालों के सूकाय अनियमित प्रकार के शाखित होते हैं तथा उनमें पट (septa) नहीं होते हैं। इनमें अनेक केन्द्रक भी पाए जाते हैं। इनके सूकायों के मध्य में एक बड़ी रसधानी (vacuole) होती है। उदाहरण–Vaucherial
VIII. यूनिएक्सियल प्रकार
(Uniaxial Form)
इस प्रकार के शैवालों के सूकाय में एक मुख्य शाखा होती है तथा इसी से अनेक शाखाएँ विकसित होती हैं। मुख्य शाखा में नोड्स (nodes) एवं इन्टरनोड्स (internodes) होती हैं। इस प्रकार के थैलस वाले शैवाल का उदाहरण है-Batrachospermum|
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IX. मल्टीएक्सियल प्रकार (Multiaxial Form)
इस प्रकार के शैवालों के शरीर की रचना कई प्रकार के साइफन्स (siphons) के मिलने से बनती है। इनमें एक केन्द्रीय साइफन (central siphon) होता है तथा उसके बाहर अनेक पेरिसेन्टल साइफन्स (pericentral siphons) होते हैं, बाहर की ओर अनेक कोटिकल साइफन्स (cortical siphons) होते हैं। इस प्रकार के शैवालों का प्रमुख उदाहरण है पॉलीसाइफोनिया (Polysiphonia)।
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पैरेन्काइमेटस प्रकार
(Parenchymatous Form)
इस प्रकार के शैवालों के सूकायों की शारीरिक संरचना केवल बाहर से ही नहीं वरन् अन्दर से भी जटिल होती है। इनमें बाहर की ओर अनेक प्रकार की शाखाएँ बन जाती हैं तथा. अन्दर भी पैरेन्काइमा (parenchyma) के प्रकार की कोशिकाएँ होती हैं। ऐसे शैवालों की रचना बाहर एवं अन्दर दोनों ओर काफी जटिलं होती है; जैसे-Ulva, Sargassum, Fucus आदि इसके प्रमुख उदाहरण हैं।
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